गुरुवार, 22 मई 2014

महाभारत के रचियता महर्षी वेदव्यास का कथन है कि

महाभारत के रचियता महर्षी वेदव्यास का कथन है कि ----------------------------------
गुह्यं ब्रह्म तदिदं वो ब्रवीमि
हि मानुषात श्रेष्ठतरं हि किंचित
नः समितिं गच्छेद यश्च नो निर्वपेत कृषिम
अर्थात --- हे संसार के लोगो ! तुम्हे एक रहस्यपूर्ण बात बताता हूं----- इस संसार मनुष्ययोनि से श्रेष्ठ और कुछ नही है भारत कृषिप्रधान देश है,अतः व्यासजी का आग्रह है कि जो नेता अपने हाथो से कृषि नहीं करता , उसे नेता बनकर संसद मे जाने का अधिकार नही है

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